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ICC Women World Cup 2022: मिताली राज की जगह कौन बनेंगी भारतीय महिला क्रिकेट टीम की नई कप्तान?

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ICC Women World Cup 2022: मिताली राज की जगह कौन बनेंगी भारतीय महिला क्रिकेट टीम की नई कप्तान?

महिला वर्ल्ड कप 2022  से भारतीय क्रिकेट टीम बाहर हो चुकी है. टीम इंडिया सेमीफाइनल में जगह बनाने से चूक गई और साउथ अफ्रीका से हारकर पांचवें स्थान पर रही.

इस नतीजे के साथ ही भारतीय क्रिकेट में बदलाव की बातें भी होने लगी हैं. मिताली राज  की जगह

टीम इंडिया के नए कप्तान की बात भी उठ रही है. मिताली ने 2022 वर्ल्ड कप तक कप्तानी की बात कही थी. ऐसे में उन्हें अब बदला जा सकता है. वैसे भी वह 39 साल की हो चुकी हैं और उनका करियर अपने अंत की ओर है. टी20 फॉर्मेट की कप्तान हरमनप्रीत कौर और स्मृति मांधना नए कप्तान की रेस में आगे मानी जा रही हैं.

मिताली राज ने अभी तक संन्यास का ऐलान नहीं किया है. उनके साथ ही झूलन गोस्वामी भी 40 की उम्र के करीब जाने वाली हैं. ऐसे में वे लंबे समय तक खेलते हुए नहीं दिखेंगी. ऐसे में भारतीय महिला क्रिकेट टीम को दो धुरंधरों की जगह भरनी होगी. पेस बॉलिंग में भारत को कई नए चेहरे मिले हैं जो काफी संभावनाएं जगाते हैं. वहीं मिताली दो भूमिकाएं निभाती रही हैं. कप्तान के साथ ही वह मिडिल ऑर्डर की जान रही हैं. कप्तान के रूप में हरमनप्रीत कौर या स्मृति मांधना में से कोई उन्हें रिप्लेस कर सकता है. मगर बैटिंग में उनकी जगह कौन लेगा यह देखना होगा.

हरमनप्रीत-स्मृति हैं दावेदार

भारत की पूर्व कप्तान डायना इडुल्जी ने कहा, ‘मिताली और झूलन भारत की तरफ से खेलने वाली बेस्ट खिलाड़ियों में शामिल हैं. लेकिन यदि वे संन्यास का ऐलान नहीं करती हैं तो बीसीसीआई को उनके बारे में फैसला करना होगा. हमें भविष्य की तैयारी करनी होगी. हरमनप्रीत कौर या स्मृति मांधना में से किसी को कप्तानी मिल सकती है.’

शांता रंगास्वामी ने मांधना को चुना

पूर्व कप्तान शांता रंगास्वामी का कहना है कि स्मृति मांधना जिम्मेदारी लेने के साथ ही लगातार रन बनाती हैं. ऐसे में वह मिताली राज की जगह कप्तानी संभाल सकती हैं. शांता ने कहा कि वह स्मृति को अगली कप्तान के रूप में देखती हैं. उन्होंने कहा, ‘मिताली चाहे तो आगे भी खेल सकती है. स्मृति को कप्तानी करनी चाहिए. हरमन मैच विजेता है और स्टार है लेकिन कप्तान के रूप में जिम्मेदारी चाहिए होती है और लगातार अच्छा करना होता है. कप्तानी की अतिरिक्त जिम्मेदारी से हरमन पर बोझ पड़ सकता है. उस पर अतिरिक्त वजन बढ़ेगा. स्मृति अच्छी तरह से संभाल सकती हैं. उसका रवैया कप्तानी के अनुकूल है.’